दिखने में सरसो जैसे छोटे छोटे लाल रंग के दाने लेकिन बहुत कमाल का अनाज है रागी। रागी हमारी सेहत के लिए बहुत ही लाभदायक है। अगर इस अनाज को दैनिक आहार में शामिल कर लिया जाये तो तो आप बहुत सी स्वास्त्य समस्याओं से बच सकते है। बहुत से लोग रागी के बारे में नहीं जानते होंगे। आइये जानते है की रागी क्या है और क्यों इसे सुपर फ़ूड कहा जाता है।
रागी क्या है ?
रागी को, नाचनी , मकरा ,मंडुआ को मडुआ और इंग्लिश में फिंगर मिलेट भी कहा जाता है। जब आप इसे देखेंगे तो पाएंगे की रागी देखने में बिलकुल सरसो के दानो जैसा दिखता है। रागी सबसे पुरान मोटा अनाज है रागी (Ragi) का पौधा लगभग 1 मीटर तक ऊचाँ होता है। इसका असली मूल स्थान इथिओपीआई उच्च ज़मीन है और यह भारत में लगभग 4000 साल पहले लायी गई थी| इसको शुष्क मौसम में उगाया जा सकता है| यह गंभीर सूखे की स्थिति को भी सहन कर सकती है और ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भी उगाई जा सकती है| यह कम समय वाली फसल है और इसकी कटाई 65 दिनों में की जा सकती है|
भारत रागी का सर्वाधिक उत्पादन करने वाला देश है इसलिए भारत रागी का सबसे बड़ा निर्यातक देश है। भारत में रागी सर्वाधिक कर्नाटक में उगाई जाती है इसलिए कर्नाटक रागी का सर्वाधिक उत्पादन करने वाला राज्य है। इसके बाद तमिलनाडु , सिक्किम , अरुणाचल प्रदेश , हिमाचल प्रदेश, झारखण्ड और उत्तराखंड में रागी का उत्तपादन किया जाता है।
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भारत में कर्नाटक ,उत्तराखंड और आन्ध्र प्रदेश में रागी का सबसे अधिक उपभोग होता है। साउथ इंडिया में इसका उपयोग रोजाना किया जाता है। इससे मोटी डबल रोटी, डोसा और रोटी बनती है। इस से रागी मुद्दे बनाया जाता है जिसके लिये रागी आटे को पानी में उबाला जाता है, जब पानी गाढा हो जाता है तो इसे गोल आकृति कर घी लगा कर साम्भर के साथ खाया जाता है। वियतनाम मे इसे बच्चे के जन्म के समय औरतो को दवा के रूप मे दिया जाता है। इससे शराब भी बनाए जाती है।
रागी मोटे अनाज की श्रेणी में रखा जाता है। मोटे अनाज अनाज उन्हें कहा जाता है जिनकी खेती करने में ज्यादा मेहनत और देखभाल नहीं करनी पड़ती है और इसे आसानी से लगाया जा सकता है। जहा अन्य फसलों को संग्रह करने के लिए कीटनाश की आवस्यकता होती है लेकिन रागी को संग्रह करने के लिए किसी प्रकार के कीटनाशक दवाइयों की जरूरत नहीं होती है। रागी को आप कैसे भी रखिये इसमें कीड़े नहीं लगते है।
रागी के पौष्टिक तत्व
कैल्शियम,कार्बोहैड्रेट ,पोटेशियम, फाइबर ,फॉस्फोरस और प्रोटीन रागी में सबसे ज्यादा पाए जाने वाले पोषक तत्व है और इसके आलावा आयरन, आयोडीन , कैरोटीन ,ईथर के अर्क, एमिनो एसिड, सोडियम , ज़िंक , मेगनीसियम, विटामिनB1, B2, B3, आदि तत्व भी रागी में अच्छी मात्रा में पाए जाते है।
रागी से होने वाले फायदे
सुपर फ़ूड कहे जाने वाले रागी के बहुत से फायदे है, आइये एक एक करके उनके बारे में जानते है :-
१. कैल्शियम की कमी को दूर करे :- कुछ पोषक तत्व हमारे शरीर के लिए बहुत जरूरी होते है। अगर इन पोषक तत्त्वों की शरीर में कमी हो जाये तो कई प्रकार के रोग पैदा हो जाते है उन्ही में से कैल्शियम एक है। कैल्शियम ऐसा तत्व है जो हमारी हड्डियों और मांसपेशियो के लिए बहुत आवस्यक है। इसकी कमी से बच्चो की हड्डिया और याददाश्त कमजोर हो जाते है। लोग कैल्शियम की कमी पूरा करने के लिए कैल्शियम के सप्लीमेंट को लेना शुरू कर देते है जो की शरीर पर दुष्प्रभाव डालते है। रागी में बाकी अनाज के मुकाबले 5 से 30 गुना ज्यादा कैल्शियम पाया जाता है। 100 ग्राम रागी में 344 एमजी कैल्शियम पाया जाता है जो पूरे दिन की कैल्शियम की जरूरत को पूरा कर सकता है। इस प्रकार रागी को आहार में प्रयोग करकर हम कैल्शियम की कमी को आसानी से पूरा कर कर सकते है।
२. कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करता है :- रागी कोलेस्ट्रॉल को कम करने में भी सहायक हो सकता है। कोलेस्ट्रॉल एक मोम जैसा पदार्थ है, जो शरीर की कोशिकाओं में मौजूद होता है। मनुष्य के शरीर को सही तरीके से काम करने के लिए कोलेस्ट्रॉल की भी आवश्यकता होती है।अगर शरीर में कोलेस्ट्रॉल की अधिक मात्रा हो जाए, तो हृदय रोग का जोखिम बढ़ सकता है। ऐसे में कोलेस्ट्रॉल कम करने के लिए डाइट में रागी को शामिल कीजिये। इसमें मौजूद फायटिक एसिड और डाइटरी फाइबर कोलेस्ट्रॉल को कम करने में सहायक हो सकते हैं।
३. मधुमेह रोग को कंट्रोल करने में सहायक :- अगर आप डायबिटीज या मधुमेह से जूझ रहे हैं तो अनाज के तौर पर रागी आपके लिए बेहतर विकल्प है। रागी में चावल, मक्का या गेहूं की तुलना में हाई पॉलीफेनोल और डायटरी फाइबर भरपूर मात्रा में मिलता है जिससे आप ग्लूकोज को नियंत्रित रख सकते हैं। इसे आप ब्रेकफास्ट से लेकर लंच या डिनर में भी खा सकते हैं।
४. खून बढ़ाने में सहायक :- रागी में आयरन की भरपूर मात्रा में पाया जाता है ऐसे में अगर आपको खून की कमी है तो कम हिमोग्लोबिन वाले मरीजों के लिए यह लाभदायक होता है। अगर रागी को अंकुरित करके खाया जाए तो इसमें विटामिन सी का लेवल भी बढ़ जाता है। इसमें मौजूद आयरन शरीर में आसानी से पच जाता है और खून में आसानी से घुल जाता है।
५. वजन काम करने में सहायक :- अगर आप वजन काम करना चाहते है तो रागी का सेवन कीजिये। रागी में बहुत अच्छी मात्रा में फाइबर होता है डाइटरी फाइबर तुरंत डायजेस्ट नहीं होता और कई घंटों तक हमारे पेट को भरा रखता है जिस वजह से हमें लंबे समय तक भूख नहीं लगती और इससे वेट भी कम होता है।
६. छोटे बच्चो के लिए फायदेमंद :- रागी एक ऐसा अनाज है जो बड़ो से लेकर छोटे बच्चो तक सभी के लिए फायदेमंद है शिशुओं को ६ महीने के के बाद ठोस आहार दिया जाने लगता है। छोटे बच्चो के विकास लिए कैल्शियम , आयरन और प्रोटीन बहुत ही आवस्यक तत्व है जो की रागी में भरपूर मात्रा में होते है इसलिए बच्चो को रागी माल्ट दिया जाता है। ध्यान रखना चाहिए की बच्चो को उनकी उम्र के अनुसार रागी माल्ट दिया जाये क्योकि अधिक मात्रा में इनका सेवन बच्चो को नुकसान पंहुचा सकता है।
७. माँ का दूध बढ़ाने में फायदेमंद :- शिशुओं के लिए माँ का दूध सर्वोत्तम आहार है ६ महीने तक एक शिशु माँ के दूध का सेवन करता है ऐसे में माँ के दूध की कमी उसके सम्पूर्ण विकास में बाधा उत्त्पन्न करता है। इसलिए दूध पिलाने वाली माताओ को रागी का उपयोग करना चाहिए । रागी में एमिनो एसिड, कैल्शियम और आयरन अच्छी मात्रा में होता है ये तत्व माँ का दूध बढ़ाने में मदद करते है।
८. ब्लड प्रेशर कम करता है :- आजकल ब्लड प्रेशर बढ़ने की समस्या आम हो चुकी है। रागी में बहुत से तत्व है जो की ब्लड प्रेशर कम करते है इसलिए प्रतिदिन रागी का प्रयोग करे।
9. स्वस्थ त्वचा के लिए रागी :- रागी के फायदे सिर्फ सेहत के लिए ही नहीं, बल्कि त्वचा के लिए भी हैं। दरअसल, रागी में मौजूद फेरुलिक एसिड यूवी विकिरणों की वजह से होने वाली त्वचा की क्षति से बचाव कर सकता है। इतना ही नहीं, इसमें एंटी-एजिंग गुण भी मौजूद होता है, जिस कारण यह वक्त से पहले त्वचा पर एजिंग के प्रभाव को कम कर सकता है। रागी का उपयोग फेस मास्क के तौर पर किया जा सकता है।
१०. हृदय के लिए रागी :- रागी का सेवन हृदय को स्वस्थ रखने के लिए भी किया जा सकता है। दरअसल, रागी में आयरन और मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्व मौजूद होते हैं, जो हार्ट अटैक के जोखिम को कुछ हद तक कम कर सकते हैं। इसके अलावा, यह कोलेस्ट्रॉल और ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करके भी इनसे होने वाले हृदय रोग के जोखिम को कम कर सकता है। ऐसे में हृदय को स्वस्थ रखने के लिए रागी को आहार में शामिल किया जा सकता है।
रागी से होने वाले नुकसान
रागी के इतने फायदे होने के बाद भी उसके कुछ नुकसान भी है आइये उनके बारे में जानते है :-
१. रागी का अत्यधिक सेवन किडनी के मरीजों के लिए नुकसानदायक है।
२. छोटे बच्चो को अधिक रागी के सेवन नुकसानदायक होता है।
३. रागी अम्ल पथरी वाले रोगियों को नुकसान करता है।
आशा करती हु की आपको रागी से सम्बंधित ये छोटी सी जानकारी पसंद आए होगी। इस लेख को अपने दोस्तों और फ्रेंड्स के साथ शेयर कीजिये। पूरा लेख पढ़ने के लिए आपका धन्यवाद्। इस लेख में दी गई जानकारियां और सूचनाएं सामान्य जानकारियों पर आधारित हैं इन पर अमल करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से संपर्क करें।